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Tuesday 5 September 2017

Five people immersed in Ganapati immersion in river Yamuna

यमुना नदी में गणपति विसर्जन पर पांच लोग डूबे,दो के शव बरामद 



नई दिल्ली गणेश पूजन के बाद मूर्ति विसर्जन के लिए शकरपुर  स्थित यमुना नदी पहुंची दो लोग डूबने का मामला सामने आया है। फिलहाल राहत कार्य में लगे हुए वोट क्लब की टीम दोनों लोगों की तलाश में है अधिकारियों का कहना है कि मंगलवार को हरियाणा सरकार से बात कर यमुना में छोड़े जाने  वाले पानी को रुकवाने  के बाद दोबारा राहत कार्य शुरू किया जाएगा।


वहीं, रविवार को भी दो अलग अलग इलाकों में पांच लोग डूब गए थे इसमें से सिर्फ दो शव मिल पाए थे जानकारी के अनुसार अंकुश परिवार के साथ भोलानाथ नगर और कुणाल  परिवार समेत कृष्णा नगर में रहता है। वे सोमवार शाम को अपने इलाके में स्थापित किए गए गणेश मूर्ति के विसर्जन के लिए शकरपुर इलाके में यमुना घाट पर आए थे।


इस दौरान वे दोनों गहरे पानी में उतर गए चूंकि हालिया दिनों में हथनीकुंड बैराज से पानी छोड़ने का कारण यमुना का जलस्तर बढ़ गया है। इसलिए दोनों पानी के तेज बहाव में आकर गहने पानी में चले गए। दोनों को डूबते देखकर घाट पर मौजूद लोगों ने करीब 5:50 बजे पुलिस नियंत्रण कक्ष को सूचना दी। चूंकि यमुना का पानी उस इलाके में दरियागंज थाना का है, इसलिए मौके पर संबंधित पुलिसकर्मी पहुंचे। साथ ही बचाव कार्य के लिए गोताखोरों  का टीम जुट गई लेकिन दोनों को ढूंढना नहीं जा सका।


इसके अलावा रविवार शाम को मुनक नहर में डूबे युवा के लाश अभी तक नहीं मिली  है। वहीं सोनिया विहार जिरो पुश्ता  के पास डूबे दो युवक इशान और अशोक के शव नहीं मिले हैं। दोनों की खोज के लिए गोताखोरों  की टीमों ने ओखला तक अभियान भी चलाया था, लेकिन पानी का बहाव तेज होने के कारण सफलता नहीं मिली।


दिल्ली पहुंच गया हथनीकुंड से यमुना में छोड़ा पानी;

हरियाणा के यमुनानगर स्थित हथनीकुंड बैराज से दो दिन पहले छोड़ दिया गया था 1.47 लाख क्यूसेक पानी सोमवार को दिन में दिल्ली पहुंचा। पानी के दिल्ली पहुंचते ही यमुना का जलस्तर बढ़ गया हालांकि, इतना अधिक पानी छोड़ने के बावजूद नदी का जलस्तर खतरे का निशान से लगभग दो सेंटीमीटर कम हो रहा है। दोपहर करीब 2 बजे जलस्तर 204.81 मीटर दर्ज किया गया, जबकि यमुना के डेंजर लेवल (खतरे का निशान) 204.83 मीटर है। देर शाम तक जलस्तर में गिरावट होने लगी और वह घटकर 204.79 मीटर हो गया। इस साल सोमवार को यमुना की जलस्तर सबसे अधिक दर्ज किया गया था। पिछले महीने हथनीकुंड से 94 हजार क्यूसेक पानी छोड़ा गया, जिससे दिल्ली में यमुना की जलस्तर चेतावनी स्तर पार करते हुए  204.08 मीटर तक पहुंच गया।

वहीं, अधिकारियों के मुताबिक जलस्तर बढ़ने से किसी तरह का नुकसान नहीं हुआ। यदि जलस्तर ख़तरनाक निशान से ऊपर आता है तो आसपास के इलाकों में रहने वाले लोगों को नुकसान हो सकता है लोगों को बचाने के लिए सीमावर्ती कॉलोनियों में बोट लगाए गए हैं। सोमवार को यमुना का जलस्तर सबसे अधिक दर्ज किया गया था। यमुना खादर में खेती करने वाले किसान चैनी ने कहा कि यमुना के निचले हिस्से में लगी  फसलों को नुकसान हुआ है।


कई कॉलोनियों में भर जाता है पानी;

यदि यमुना का जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर पहुंचे तो बाटला हाउस, जैतपुर और अलीपुर के आसपास विकसित अनधिकृत कॉलोनियों में पानी भर जाता है। लेकिन जलस्तर के खतरे के निशान से कम होने के कारण कॉलोनीवासियों ने राहत की सांस ली।

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